झारखण्ड वाणी

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झारखंड सरकार के द्वारा विगत दिनों जो दुर्गा पूजा को लेकर गाइडलाइन जारी किया गया यह हमें लगता है जल्दबाजी में लिया गया निर्णय है :अभय सिंह

झारखंड सरकार के द्वारा विगत दिनों जो दुर्गा पूजा को लेकर गाइडलाइन जारी किया गया यह हमें लगता है जल्दबाजी में लिया गया निर्णय है झारखंड की सरकार जब मात्र दुर्गा पूजा बीस रोज बच गया तब अपना गाईड लाईन पूजा को लेकर जारी की दुर्गा पूजा हो या काली पूजा यह बहुत बड़ा आस्था का पूजा है
सरकार के निर्णय में कुछ तथ्य को जो प्रकाशित किया गया है वह बिल्कुल ही असहनीय है
पंडाल छोटा बनेगा मेला नहीं लगेगा पूजा सादगी से होगा इसका स्वागत करते हैं लेकिन जहां तक भोग वितरण की बात है तो उसमें सरकार को पुनर्विचार करना अति आवश्यक है क्योंकि विगत वर्ष में लोगों ने इस पर बात नहीं माना था और भोग वितरण हुआ भी था आज कोरोनावायरस इस महामारी से जितनी सरकार चिंतित है उससे कहीं ज्यादा दुर्गा पूजा के समिति भी चिंतित है और साथ में सहयोग करने के लिए तैयार है
बड़ी अजीब विडंबना है कि सरकार के द्वारा रेस्तरां , बार, होटल रेस्टोरेंट्स ,बाजार मॉल हॉट को खोल दिया गया है लेकिन दुर्गा पूजा में भोग वितरण में रोक लगा दी गई आखिर क्यों?
क्या भोग वितरण से कोरोनावायरस फैल जाएगी ?
क्या लॉज, होटल, रेस्टोरेंट, बार से कोरोना नहीं फैलता है ?
क्या हाट,बाजार,मॉल खोलने सेकोरोनावायरस नहीं होता है ?
झारखणड़ सरकार को इन बातों से अवगत होना चाहिए पूरे भारत में सबसे दुर्गा पूजा का महत्व बंगाल में है बंगाल की सरकार अपने क्षेत्र में क्या कर रही है उसका गाइडलाइन जरूर लेना चाहिए था या महाराष्ट्र में गणेश पूजा का सबसे बड़ा महत्व है वहां से गाइडलाइन प्राप्त करना चाहिए था
झारखंड की आबादी 3 करोड़ बंगाल की आबादी 10 करोड़ और महाराष्ट्र की आबादी लगभग 15 से 16 करोड़ की आबादी है यहां से पर किलोमीटर जनसंख्या का घनत्व अधिक है तो झारखंड की सरकार को प्रथम उस क्षेत्र की गाइडलाइन को प्राप्त करना चाहिए और उनके अनुसार ही अनुसरण करना चाहिए
यह सरकार नमाजी सरकार बन गई अगर नमाज का विरोध नहीं होता तो मेरे ख्याल से इस बार के दुर्गा पूजा में सरकार जरूर तांडव करती ?
सरकार को मगही और मैथिली से फुर्सत नहीं है क्या कर्तव्य होना चाहिए आम जनों के बीच में यह कर्तव्य का बोध नहीं है ?
दुर्गा पूजा में भोग वितरण नहीं हो प्रसाद बटे इससे सरकार को आपत्ति है, श्रद्धा से आपत्ति है ,क्या पूजा का महत्व बिना प्रसाद के हो सकता है ? क्या श्रद्धालुओं को प्रसाद नहीं मिले क्या यह सरकार चाहती है ?
झारखंड की सरकार से आग्रह करता हूं अविलंब
इसमें फैसला ले और तानाशाही रवैया इस बार नहीं अपनाएं बार-बार का यह खेल अब बंद करना होगा । बार-बार हिंदुत्व विरोधी निर्णय को बंद करना होगा ।बार-बार तानाशाही रवैया को बंद करना होगा
भाजपा नेता अभय सिंह ने उपायुक्त पूर्वी सिंहभूम से आग्रह किया है कि जमशेदपुर के बड़े दुर्गा पूजा पंडाल को बुलाकर एक बार अपनी अध्यक्षता में जरूर बैठक करें और सारे गाइडलाइन को बताएं साथ ही दुर्गापूजा समितियों के सुझाव को भी सुनकर आत्म चिंतन करें