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‘उड़ने वाली कार’ तैयार है और क्या ये हमारी दुनिया बदल सकती है

उड़ने वाली कारें अब कपोल कल्पना नहीं रहीं. अब जेटपैक से लेकर निजी हवाई टैक्सी तक तैयार हैं. ये हमारे आवागमन, काम करने और जीने का तरीका बदल सकती हैं.

साल 1982 में बनी फ़िल्म ‘ब्लेड रनर’ में 2019 के काल्पनिक लॉस एंजेलिस शहर को दिखाया गया था, जहाँ आसमान से एसिड की बारिश होती है और हवाई हाइवे पर उड़ने वाली कारें दौड़ती हैं.

फ़िल्म बनने के बाद तकनीक में इतनी तरक्की हुई जिसके बारे में हॉलीवुड ने सोचा भी नहीं होगा. सेल्फी स्टिक, मर्डर ड्रोन, हैशटैग पॉलिटिक्स वास्तविकता बन गए. मगर उड़ने वाली टैक्सियाँ अब भी दूर की कौड़ी लगती हैं, जो सिर्फ़ विज्ञान गल्प के उपन्यासों और थीम पार्क में हो सकती हैं.

लेकिन हक़ीक़त में अब उड़ने वाली कारें मौजूद हैं और आने वाले दशकों में वे हमारे आवागमन, काम करने और रहने के तरीके को बदल सकती हैं.

बैटरी की क्षमता बढ़ने, मैटेरियल साइंस और कंप्यूटर सिमुलेशन में हुई प्रगति ने उड़ने वाले निजी वाहन बनाने की रफ्तार बढ़ा दी है. इनमें इलेक्ट्रिक ग्लाइडर से लेकर नियत पंखियों वाले वाहन और चार पंखियों वाले ड्रोन शामिल हैं.