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प्राथमिकताएं बदले झारखंड पुलिस, बालू माफियों को नहीं उत्पीड़न की शिकार महिलाओं को मिले सुरक्षा : कुणाल षाड़ंगी

अंधविश्‍वास से ग्रसित होकर डायन बिसाही के नाम पर महिलाओं, विधवाओं की निर्मम हत्‍याओं का सिलसिला रुकने का नाम नहीं ले रहा है। लगातार जागरुकता अभियान और कोशिश के बाद भी डायन बिसाही का मामला सुनने को मिलते रहता है। इस जनसमस्या को दुर्भाग्यपूर्ण करार देते हुए भारतीय जनता पार्टी ने चिंता जाहिर किया है। भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता सह पूर्व विधायक कुणाल षड़ंगी ने बयान जारी कर सरकार को कम्युनिटी पुलिसिंग पर ज़ोर देने की माँग की है। भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि पूर्वी सिंहभूम के बहरागोड़ा में डायन बिसाही के आरोपों में दंपति की हत्या, खूंटी में महिला की हत्या सहित राज्य में लगातार बढ़ रही इस प्रकार की वारदातों पर अंकुश लगाने के लिए राज्य सरकार का ध्यानाकर्षित किया है। कहा कि पिछले एक सप्ताह में राज्यभर में पाँच हत्याएं हुई है जो डायन-बिसाही के अंधविश्वास में अंजाम दिया गया है। प्रदेश भाजपा के प्रवक्ता कुणाल षाड़ंगी ने कहा कि दशकों से राज्य को इस कुप्रथा और अंधविश्वास ने जकड़ा हुआ है जिसको लेकर निर्णायक लड़ाई लड़ने की आवश्यकता है। कहा कि यह राजनीति का विषय नहीं बल्कि सरोकार का मुद्दा बनें। पूर्व विधायक श्री षाड़ंगी ने सूबे के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से माँग किया कि इन कुरीतियों और कुप्रथाओं के कारण जन्में अंधविश्वास से जो निर्दोष जानें जा रही हैं इस पर अविलंब रोक लगाने की दिशा में कारगर पहल करें। कहा कि लंबे अरसे से कई स्वयंसेवी संस्थाएं राज्य सरकार संग मिलकर डायन-बिसाही जैसी कुप्रथाओं के विरुद्ध जागरूकता कार्यक्रम संचालित कर रहीं है। यह समीक्षा का विषय बने की आखिर क्या कारण है कि इतने वर्षों के प्रयास के बावजूद भी जागरूकता कार्यक्रमों का सामाजिक प्रभाव शून्य है। प्रदेश भाजपा के प्रवक्ता सह पूर्व विधायक कुणाल षड़ंगी ने मांग किया कि मुख्यमंत्री की मौजूदगी में समाज कल्याण विभाग एवं झारखंड पुलिस इन विषयों की समीक्षा और सोशल ऑडिट करें ताकि मुख्य कारकों की जानकारी मिले। कहा कि दशकों से जागरूकता कार्यक्रम चलाने के बावजूद भी जागरूकता का वह स्तर जनमानस के मध्य नहीं आ सकी है कि ऐसी कुप्रथाओं पर रोक लगे। कुणाल षड़ंगी ने कहा कि डायन-बिसाही के अंधविश्वास में उत्पीड़न का शिकार हो रही महिलाओं और हत्याओं से भारतीय जनता पार्टी चिंतित है। डिजिटल युग में अंधविश्वास के कारण महिलाओं की हत्या दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होंने झारखंड सरकार पर तंज कसते हुए कहा कि आज भी कई जिलों के पुलिसिया संरक्षण में अवैध बालू और जमीन कारोबार फ़लफूल रहे हैं। पूर्व विधायक ने कहा कि झारखंड पुलिस को प्राथमिकताएं बदलने की जरूरत है। सरकार बालू और भू माफियाओं की जगह अंधविश्वास और उत्पीड़न की शिकार महिलाओं और उनके परिजनों को सुरक्षा मुहैया कराया