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मुंगेर के सभी अस्पतालों में ऑक्सीजन की भारी किल्लत

मुंगेर के सभी अस्पतालों में ऑक्सीजन की भारी किल्लत

कोरोना का संक्रमण जैसे-जैसे बढ़ रहा है, वैसे-वैसे कई जीवन रक्षक दवाओं और वस्तुओं के बाजार से गायब होने की सूचना आ रही है. इनमें से एक ऑक्सीजन भी है. बिहार के मुंगेर जिले में भी ऑक्सीजन के लिए जद्दोजहद करनी पड़ रही है.
मुंगेरः कोरोना महामारी के बीच जिले में ऑक्सीजन की किल्लत शुरू हो गई है. मांग के अनुसार आधे सिलेंडर ही मिल रहे हैं. ऐसे में निजी ऑक्सीजन आपूर्तिकर्ता अस्पतालों को मांग के अनुसार सिलेंडर दे पाने में असमर्थ हैं. पिछले दिनों ऑक्सीजन नहीं रहने से सरकारी अस्पताल में दो मरीजों की मौत हो गयी थी.
मेरी एजेंसी प्रतिदिन 15 सिलेंडर शहर के विभिन्न अस्पतालों को उपलब्ध कराती थी. वर्तमान समय में यह बढ़कर लगभग 200 से 300 तक पहुंच गयी है. जिससे हम इसकी आपूर्ति करने में असमर्थ हैं. मांग के अनुसार ऑक्सीजन नहीं मिल रहा है. जिले की खपत अमूमन 5 टन प्रतिदिन है. हमें मात्र 3 टन ही मिल रहा है.’ -ईश्वर शर्मा, प्रोपराइटर, संजीवनी ऑक्सीजन सर्विस
ऑक्सीजन सप्लाई करने वाले ने कहा कि हम सेवायान अस्पताल सहित दो अन्य निजी अस्पताल को ऑक्सीजन सिलेंडर उपलब्ध कराते हैं. भागलपुर से हम लोग प्रतिदिन 15 सिलेंडरों की मांग करते हैं. लेकिन छह से सात ही सिलेंडर मिल पाता है. ऐसे में हमने सभी अस्पतालों में ऑक्सीजन सिलेंडर में कटौती की है. भागलपुर से ही अगर कम सप्लाई होती है तो हम भी कम दे पाते हैं.
अमूमन लोग इसको लेकर पैनिक हो रहे हैं. निजी रूप से ऑक्सीजन सिलेंडर खरीदने लगे हैं. ऐसे में ऑक्सीजन सिलेंडर की किल्लत हो गई है. जो ऑक्सीजन सिलेंडर पहले मात्र 3000 में मिलता था, अब 12000 में भी उपलब्ध नहीं है. लोगों को परेशान नहीं होना चाहिए. ऑक्सीजन के लिए सरकार भी प्रयासरत है. हम लोग भी कोशिश कर रहे हैं. जिले में ऑक्सीजन के बगैर किसी की मौत नहीं हो, इसके लिए पूरी टीम काम कर रही है.’ -अमित कुमार, ऑक्सीजन सप्लायर
गुरुवार को दो लोगों ने ऑक्सीजन के अभाव में सरकारी अस्पताल में दम तोड़ दिया. कोविड डेडिकेटेड जीएनएम अस्पताल तथा सदर अस्पताल में एक-एक अन्य कोरोना संक्रमित मरीज की मौत ऑक्सीजन नहीं रहने के कारण हो गयी थी. सिविल सर्जन ने बताया था कि तीन दिन पहले सुबह में ऑक्सीजन खत्म हुई थी. देर शाम तक मिल पायी.