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देशव्यापी किसान आंदोलन के समर्थन में आए शहर के युवा

एक तरफ जहाँ पंजाब, मध्य प्रदेश, राजस्थान और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के किसान आंदोलित हैं जो दिल्ली की ओर कूच कर रहे हैं वहीं दूसरे तरफ यहाँ जमशेदपुर के युवा ने भी अपनी भागीदारी सुनिश्चित किया। वह इसीलिए क्योंकि युवा मानते हैं कि वे सब कहीं ना कहीं कभी ना कभी किसान परिवार से आते हैं। उनके पूर्वज किसान थे और जब आज उनके पूर्वजों के पेट पर लात पड़ रही है तो उनके समर्थन में अपनी आवाज़ उठाना उनका दायित्व है।
कल ‘ग्लोबल क्लाइमेट स्ट्राइक’ भी है। कल दुनिया भर में पर्यावरण के खिलाफ चल रहे खनन, अवैध धंधे और तमाम मुद्दों को लेकर दुनियाभर के युवा अपने अपने जगह हड़ताल पर रहेंगे। इसीलिए भारत के युवा संगठनों ने और जलवायु परिवर्तन को लेकर चिंतित युवाओं ने कल की विरोध प्रदर्शन किसान विरोधी बिल पर केंद्रित रखा है।
कार्यक्रम के आयोजक ऋषव रंजन ने कहा, “देश का जवान किसान के साथ खड़ा है। हम युवा किसान की संतान है। किसान विरोधी बिल को सरकार तुरंत वापस ले क्योंकि खेती किसानी का संकट सिर्फ किसान का नहीं है वह रोज़गार का और ग्रामीण भारत का भी है।” कार्यक्रम का संचालन ऋषिराज आनंद ने किया और युवाओं को ऐसे ही संगठित होने के लिए अपील किया।
कविता पाठ करने वालों में से विनीत, युगांधर, सौरव पांडेय और काशीनाथ जलय। इसमें अर्शबीर, अमरेंद्र सिंह मल्ली, अर्शित मिश्रा, गोपी मंघट, राहुल नायर, विनीत दुबे, प्रांजल श्रीवास्तव, प्रियेश श्रीवास्तव, गर्व कुमार, सृष्टि सिंह, आर्या सिंह, अनुष्का गोप, सायोनी गांगुली, प्रियंका प्रभात, सीवी रमन, निशांत सिंह, गौरव अग्रवाल, गर्व कुमार, दिशा चौधरी, स्वाति और अन्य युवा शामिल हुए।
युवाओं के साथ उनके अभिवावक मीनू सैनी और मोनिषा चौधरी भी शामिल हुए