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शमशेर टॉवर परिसर में अवैध निर्माण और अतिक्रमण के मामले में अंचल कार्यालय ने किया सीमांकन, अब बिजली विभाग पर भी उठे सवाल

शमशेर टॉवर परिसर में अवैध निर्माण और अतिक्रमण के मामले में अंचल कार्यालय ने किया सीमांकन, अब बिजली विभाग पर भी उठे सवाल

टेल्को के खड़ंगाझार स्थित शमशेर टॉवर अपार्टमेंट में मदर टेरेसा वेलफेयर ट्रस्ट के संचालकों द्वारा कराये गये अवैध निर्माण और अतिक्रमण के मामले में उपायुक्त सूरज कुमार की सख्ती के बाद जमशेदपुर अंचल अधिकारी अमित श्रीवास्तव के निर्देश पर विभागीय टीम ने जाँच किया। जाँच के दौरान भूमि की नापी और सरकारी नक्शे से मिलान किया गया। इसके साथ ही उक्त क्षेत्र का सीमांकन करते हुए करीब दो घंटे की जाँच के पश्चात टीम लौट गई। अंचल कार्यालय की टीम ने अपार्टमेंट से सटे सरकारी भूमि का भी नापी किया जिसपर बीते वर्ष हरपाल सिंह थापर ने अपने एनजीओ कार्यालय का दरवाजा खोल दिया था। इसी मामले में विरोध जताने पर वरीय कांग्रेस नेता ओम प्रकाश उपाध्याय और उनके भाई पर षड्यंत्रपूर्वक झूठे आपराधिक मुकद्दमें टेल्को थाना में दर्ज़ करवाये गये थे। उक्त जाँच जमशेदपुर महानगर भाजपा के पूर्व प्रवक्ता अंकित आनंद द्वारा पिछले दिनों ट्विटर पर उठाये गये सवाल के आलोक में हो रही है। अंचल कार्यालय की लगातार जाँच से क्षेत्र के अन्य सरकारी भूमि के खरीद बिक्री में संलिप्त लोगों में हड़कंप मच गई है। जानकारी के अनुसार अंचल कर्मियों को जाँच के क्रम में काफी अनियमितताएं मिली है। अंचल निरीक्षण बलवंत सिंह की अगुआई में हुए जाँच में हल्का कर्मचारी किशन राय, अमीन स्टीफ़न सोरेन सहित अन्य शामिल थें। टीम जल्द ही अंचल अधिकारी को जाँच रिपोर्ट सौंपेगी, जिसके बाद आगे अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई संभव है।
शमशेर टॉवर में संचालित मदर टेरेसा वेलफेयर ट्रस्ट के शेल्टर होम लगातार एक के बाद एक नये विवादों में घिरती जा रही है। पूर्व महानगर भाजपा प्रवक्ता अंकित आनंद के ट्विटर बम से लगातार नये नये खुलासे हो रहे हैं। इससे प्रशासन को भी जाँच के अलग अलग शीर्षक मिले हैं। मामले में पहले ही टेल्को थाना, श्रम विभाग, जिला प्रशासन की ग्यारह सदस्यीय टीम के अलावे अंचल कार्यालय की टीम अलग अलग जाँच कर रही है। अंकित आनंद की सोमवार के ट्विटर बम से अब झारखंड बिजली वितरण निगम लिमिटेड के कान खड़े हो गये होंगे। बिजली विभाग के स्थानीय कर्मियों पर मदर टेरेसा वेलफेयर ट्रस्ट को सहयोग करने का आरोप है। किसी कर्मचारी का नाम नहीं लेते हुए अंकित आनंद ने ट्विटर पर जिले के उपायुक्त और बिजली विभाग के जीएम से सवाल किया कि 4000 से अधिक बकाया होने पर आम उपभोक्ताओं की बिजली आपूर्ति बाधित कर दी जाती है। लेकिन मदर टेरेसा वेलफेयर ट्रस्ट के संचलकों का लगभग 78000 से अधिक बकाया होने के बावजूद लगातार राहत मिलना सवालों के घेरे में है। भाजपा नेता ने तंज कसते हुए बिजली विभाग के वरीय अधिकारियों से सवाल किया कि “बिल पर डील” किसने किया और यह रिश्ता क्या कहलाता है ? मालूम हो कि शमशेर टॉवर के जिस फ्लैट में इतनी भारी भरकम बिजली बिल बकाया है उसमें मदर टेरेसा वेलफेयर ट्रस्ट के संचालक हरपाल सिंह थापर का है। इस फ्लैट को शेल्टर होम के रूप में इस्तेमाल किया जाता था जिसमें किशोरियों को रखा जाता था और भागने का प्रयास करने वाली बच्चियों को सजा के रूप में इसी फ्लैट में महीनों तक बंद कर के प्रताड़ित करने की शिकायत भी पूर्व में सामने आ चुकी है।