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रांची में लाखों के अफीम के साथ चार तस्कर गिरफ्तार यूपी और पंजाब में की जा रही थी तस्करी

रांची में लाखों के अफीम के साथ चार तस्कर गिरफ्तार यूपी और पंजाब में की जा रही थी तस्करी

झारखंड में अफीम के सौदागर एक बार फिर से पूरी तरह से सक्रिय हो गए हैं. अब नशे के सौदागर तैयार की गई अफीम को झारखंड से बाहर निकालने की तैयारी में हैं. इसी कड़ी में पुलिस ने लाखों के अफीम के साथ चार सौदागरों को गिरफ्तार किया है.

रांची: राजधानी पुलिस ने गुप्त सूचना के आधार पर तमाड़ और नगड़ी थाना क्षेत्र से चार अफीम सौदागरों को धर दबोचा है. गिरफ्तार तस्करों के पास से पुलिस ने लाखों की अफीम भी बरामद की है.
झारखंड में अफीम के सौदागर एक बार फिर से पूरी तरह से सक्रिय हो गए हैं. अब नशे के सौदागर तैयार की गई अफीम को झारखंड से बाहर निकालने की तैयारी में हैं. इससे पहले अफीम की खेती करवाने को लेकर नशे के सौदागर सक्रिय थे. अब तैयार नशे की खेप को धीरे धीरे कर बाहर निकाला जा रहा है. इसी बीच पुलिस की सतर्कता की वजह से नशे के कारोबारी पकड़े भी जा रहे हैं.
रांची के रूरल एसपी नौशाद आलम ने बताया कि चोरी-छिपे बड़े पैमाने पर अफीम की फसल लगाई गई थी. अब उन फसलों को लगातार तस्कर बाहर के राज्यों में ले जा रहे हैं. इसी बीच रांची के सीनियर एसपी को यह सूचना मिली थी कि तमाड़ इलाके में भी कुछ अफीम तस्कर अफीम पाउडर लेकर बाहर जाने वाले हैं. इस सूचना पर डीएसपी बुंडू अजय कुमार के नेतृत्व में टीम ने दो युवक सागर मुंडा और बिरसा मुंडा को गिरफ्तार किया है. तलाशी के दौरान दोनों के पास से करीब 6 किलो अफीम बरामद की गई है. रांची पुलिस को दूसरी सफलता नगड़ी इलाके से मिली है. यहां पुलिस को जानकारी मिली थी कि गुमला से अफीम की एक खेप लेकर कुछ सौदागर बस के जरिए रांची आने वाले हैं, जिसके बाद बेड़ो डीएसपी ने पुलिस बल के साथ सभी बसों की चेकिंग शुरू की. इसी दौरान एक बस से सरोज कुमार सिंह और मुकेश साहू नाम के व्यक्ति पकड़े गए, साथ ही उसके पास से चार किलो अफीम भी बरामद हुआ है.
रांची के ग्रामीण एसपी नौशाद आलम ने बताया कि बड़े पैमाने पर तैयार अफीम को पंजाब और उत्तर प्रदेश जैसे राज्यों में ले जाने की तैयारी तस्करों की ओर से की जा रही है, जिसे लेकर पुलिस पूरी तरह से अलर्ट है. अफीम की पहचान के लिए पुलिस कर्मियों को अफीम टेस्टिंग किट भी दिया गया है, ताकि पकड़े गए अफीम को टेस्ट किया जा सके कि यह अफीम है या फिर कोई दूसरा पदार्थ. इससे तस्करों की गिरफ्तारी में पुलिस को बेहद मदद मिल रही है.