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जब डीआरएम साहू बने स्कूल टीचर केंद्रीय विद्यालय में पढ़ाया संस्कृत का पाठ

जब डीआरएम साहू बने स्कूल टीचर केंद्रीय विद्यालय में पढ़ाया संस्कृत का पाठ

चक्रधरपुर रेल मंडल के डीआरएम विजय कुमार साहू ने केंद्रीय विद्यालय टाटानगर में छात्रों को संस्कृत का पाठ पढ़ाया. उन्होंने संस्कृत से जुड़ी अनेक महत्वपूर्ण जानकारी दी. साथ ही शिक्षिकाओं और छात्रों को मेडल से सम्मानित किया.

जमशेदपुरः लौहनहरी जमशेदपुर के टाटानगर केंद्रीय विद्यालय में सम्मान समारोह में चक्रधरपुर रेल मंडल के डीआरएम विजय कुमार साहू पहुंचे और केंद्रीय विद्यालय की शिक्षिकाओं और बेहतर प्रदर्शन करने वाले छात्रों को मेडल से सम्मानित किया है. इस दौरान डीआरएम स्कूली बच्चों के बीच मास्टर बनकर उन्हें संस्कृत का पाठ पढ़ाया और कई महत्वपूर्ण जानकारी दी.
डीआरएम ने कहा है कि आपदा में अवसर की तलाश होनी चाहिए. डीआरएम ने कहा कि जो भी विज्ञान में जो प्रगति हुई है वह वेदों से ली गई है, जो संस्कृत में सुरक्षित है. जमशेदपुर में रेलवे कॉलोनी में स्थित केंद्रीय विद्यालय टाटानगर में आयोजित सम्मान समारोह में चक्रधरपुर रेल मंडल के डीआरएम विजय कुमार साहू पहुंचे.
इस दौरान केंद्रीय विद्यालय की प्रिंसिपल विद्यालय की शिक्षिकाओं के अलावा स्कूल के छात्र भी समारोह में मौजूद रहे. कार्यक्रम में 2019 में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाली शिक्षिकाओं के अलावा बेहतर प्रदर्शन करने वाले छात्रों को सिल्वर और गोल्ड मेडल पहनाकर डीआरएम ने सम्मानित किया है और उन्हें प्रशस्ति पत्र भी दिया है.
इस दौरान डीआरएम विद्यालय प्रांगण में पौधारोपण करते हुए कहा कि जितनी पेड़ लगेंगे वातावरण स्वच्छ होगा. वहीं स्कूली बच्चों के बीच डीआरएम पहुंचे और मास्टर बनकर उनसे सामान्य ज्ञान की जानकारी ली. इस दौरान छात्रों को संस्कृत के महत्व को बताया.
उन्होंने छात्रों से कहा है कि जीवन को सफल बनाने के लिए अपने दिमाग के साथ समय का सदुपयोग करें सिर्फ स्कूली शिक्षा ही नहीं अतिरिक्त ज्ञान की जानकारी जरूरी है.उन्होंने छात्रों से कहा कि कोरोना कॉल में काफी कुछ सीखने का मौका मिला है जिसे देखते हुए आपदा में अवसर की तलाश होनी चाहिए आपदा को अवसर में बदलने की जरूरत है. अंक से नहीं बल्कि अतिरिक्त ज्ञान से अपने मंजिल को पाया जा सकता है.